BCCI: महिला क्रिकेट को बड़ी सौगात, घरेलू महिला खिलाड़ियों और मैच अधिकारियों की फीस में ऐतिहासिक बढ़ोतरी

स्पोर्ट्स डेस्क, अमर उजाला, नई दिल्ली Published by: Mayank Tripathi Updated Mon, 22 Dec 2025 09:41 PM IST

भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड (बीसीसीआई) ने घरेलू महिला क्रिकेटरों और मैच अधिकारियों की मैच फीस में बड़ी बढ़ोतरी को मंजूरी दे दी है।

BCCI gave huge pay hike for domestic women cricketers and match officials know details

बीसीसीआई - फोटो : ANI

विस्तार

भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड (बीसीसीआई) ने घरेलू महिला क्रिकेटरों और मैच अधिकारियों की मैच फीस में बड़ी बढ़ोतरी को मंजूरी दे दी है। यह फैसला भारत की ऐतिहासिक पहली महिला वनडे विश्व कप जीत के बाद लिया गया है, जिसका उद्देश्य घरेलू क्रिकेट में अधिक समान और न्यायसंगत वेतन संरचना तैयार करना है। इस प्रस्ताव को बोर्ड की एपेक्स काउंसिल ने मंजूरी दी।
महिला क्रिकेटरों की फीस में दोगुनी से ज्यादा बढ़ोतरी
नई वेतन संरचना के तहत सीनियर महिला घरेलू क्रिकेटरों को अब प्रति दिन 50,000 रुपये मिलेंगे, जो पहले 20,000 रुपये थे। रिजर्व खिलाड़ियों को अब 25,000 रुपये प्रति दिन (पहले 10,000 रुपये) मिलेंगे।

सीनियर महिला वनडे और मल्टी-डे टूर्नामेंट
  • प्लेइंग इलेवन: ₹50,000 प्रति दिन
  • रिजर्व खिलाड़ी: ₹25,000 प्रति दिन

राष्ट्रीय महिला टी20 टूर्नामेंट
  • प्लेइंग इलेवन: ₹25,000 प्रति मैच
  • रिजर्व खिलाड़ी: ₹12,500 प्रति मैच
बीसीसीआई अधिकारियों के अनुसार, कोई शीर्ष घरेलू महिला क्रिकेटर अगर पूरे सीजन में सभी प्रारूपों में खेलती हैं, तो वह 12 से 14 लाख रुपये तक की कमाई कर सकती है।

जूनियर महिला खिलाड़ियों को भी फायदा
अंडर-23 और अंडर-19 वर्ग की महिला खिलाड़ियों की फीस भी बढ़ाई गई है।
  • प्लेइंग खिलाड़ी: ₹25,000 प्रति दिन
  • रिजर्व खिलाड़ी: ₹12,500 प्रति दिन
मैच अधिकारियों की भी बढ़ी कमाई
इस फैसले से अंपायर और मैच रेफरी जैसे मैच अधिकारियों को भी बड़ा लाभ मिलेगा।
  • घरेलू लीग मैच: ₹40,000 प्रति दिन
  • नॉकआउट मैच: ₹50,000 से ₹60,000 प्रति दिन (मैच की अहमियत के अनुसार)
इसके चलते रणजी ट्रॉफी के लीग मैचों में अंपायरों की कमाई अब लगभग 1.60 लाख रुपये प्रति मैच हो जाएगी, जबकि नॉकआउट मुकाबलों में उन्हें 2.5 से 3 लाख रुपये तक मिलेंगे।
बीसीसीआई की योजना
बीसीसीआई का मानना है कि इस संशोधित वेतन संरचना से महिला क्रिकेटरों और घरेलू मैच अधिकारियों को बेहतर आर्थिक सुरक्षा और प्रोत्साहन मिलेगा, जिससे देश के घरेलू क्रिकेट ढांचे को और मजबूती मिलेगी।

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