नागरिक उड्डयन मंत्रालय ने इंडिगो एयरलाइन की उड़ानों में 10% कटौती करने का कड़ा निर्देश दिया है। पिछले हफ्ते क्रू रोस्टर, फ्लाइट शेड्यूल और संचार की कमी जैसे आंतरिक कुप्रबंधन के कारण यात्रियों को हुई भारी असुविधा को देखते हुए यह फैसला लिया गया है। मंत्रालय का मानना है कि एयरलाइन के संचालन को स्थिर करने और रद्दीकरण की घटनाओं को कम करने के लिए यह कटौती जरूरी है। हालांकि, इस कटौती के बावजूद इंडिगो अपने सभी मौजूदा गंतव्यों पर उड़ानें जारी रखेगी।
मंत्रालय ने स्पष्ट किया है कि 10% की कटौती का उद्देश्य एयरलाइन के सिस्टम पर दबाव कम करना है ताकि जो भी उड़ानें शेड्यूल में रहें, वे समय पर और बिना रद्द हुए चल सकें। इंडिगो को यह सुनिश्चित करना होगा कि वह उच्च मांग वाले रूट्स पर भी संचालन को सुचारू रखे और किसी भी सेक्टर पर सेवा पूरी तरह बंद न करे।
डीजीसीए की ओर इंडिगो को जारी आधिकारिक नोटिस में कहा गया है कि विंटर शेड्यूल के तहत नवंबर 2025 के लिए एयरलाइन को प्रति सप्ताह 15,014 प्रस्थान और कुल 64,346 उड़ानों की मंजूरी दी गई थी। हालांकि, परिचालन आंकड़ों से पता चलता है कि इंडिगो केवल 59,438 उड़ानें ही संचालित कर पाई। नवंबर में एयरलाइन की 951 उड़ानें रद्द की गईं।
नोटिस के अनुसार, इंडिगो को समर शेड्यूल 2025 की तुलना में विंटर शेड्यूल में 6% के इजाफे की अनुमति दी गई थी, इसके तहत 403 विमानों के उपयोग की मंजूरी थी। लेकिन एयरलाइन अक्तूबर 2025 में केवल 339 और नवंबर 2025 में 344 विमान ही संचालित कर सकी।डीजीसीए ने अपने आदेश में कहा, "एयरलाइन को अपने शेड्यूल को 5% तक घटाने का निर्देश दिया जाता है, यह कटौती विशेष रूप से अधिक मांग और अधिक फेरों वाले उड़ानों में हो। साथ ही, इंडिगो को किसी रूट पर जारी एकल उड़ानों को बंद करने से बचना चाहिए।"
उधर, इंडिगो के सीईओ पीटर एल्बर्स ने कहा कि आपका एयरलाइन संकट के दौर के बाद एक बार फिर अपने पैरों पर खड़ा हो गया है। इंडिगो सीईओ ने वीडियो के जरिए बयान जारी कर कहा, "हम परेशानियों से गुजरे, यात्रियों को परेशानी हुई। इसके लिए हम माफी चाहते हैं। हवाई यात्रा की खुबसूरती यह है कि यह लोगों को, इमोशन और एंबीशन को साथ लाती है। हम जानते हैं कि आप अलग-अलग कारणों से यात्रा करने वाले थे, पर आप से हजारों ऐसा नहीं कर पाए। हम इसके लिए हृदय से क्षमाप्रार्थी हैं।
हम उड़ानों को रद्द करना नहीं टाल पाए। पर हम आपको आश्वस्त करना चाहते हैं कि हमारी पूरी इंडिगो टीम कड़ी मेहनत कर रही है। सबसे पहले हमारी प्राथमिकता हमारे मूल्यवान ग्राहकों को सुरक्षित तरीके से उन्हें उनके घर पहुंचना है। बड़े पैमाने पर रिफंड जारी किए जा रहे हैं। यह रोजना किया जा रहा है। हवाई अड्डों पर फंसे अधिकतर लगेज यात्रियों के घर पहुंचाए जा रहे हैं। बचे हुए बैग्स भी जल्द ही ग्राहकों के घर तक पहुंचाने की प्रक्रिया जारी है।
हम एक ग्राहक के तौर पर आपकी जरूरतों को पूरा करने के लिए पूरी तरह प्रतिबद्ध हैं। लोग संकट के बाद भी हमारी सेवाओं पर भरोसा कर रहे हैं, और फ्लाइट बुक कर रहे हैं। यह हमारे लिए उत्साहवर्धक है। हमने गलतियों से सीखा है और ऐसी स्थिति क्यों बनी, इसका पूरा अध्ययन कर रहे हैं। हम सरकार के साथ भी पूरा सहयोग कर रहे हैं। हमारी क्षमा स्वीकारने और इस कठिन समय में हमारे समर्थन के लिए आप सबका धन्यवाद।"
इंडिगो के लिए वर्तमान संकट अचानक नहीं आया, लेकिन बीते तीन-चार दिनों में इसमें बेतहाशा वृद्धि हुई। सबसे ज्यादा असर एयरलाइन की यूएसपी यानी 'ऑन-टाइम परफॉर्मेंस' (ओटीपी) पर पड़ा है। इससे जुड़े आंकड़े चौकाने वाले हैं। वित्तीय वर्ष 2025 में एयरलाइन ने 73.8% की ओटीपी हासिल की थी।
1 दिसंबर को ओटीपी गिरकर 50% पर आ गई। 2 दिसंबर को यह और गिरकर 35% पर पहुंच गई। 3 दिसंबर को हालात और खराब हो गए और ओटीपी 19.7% रह गई। 4 दिसंबर को एयरलाइन का सिस्टम पूरी तरह चरमरा गया और ओटीपी ऐतिहासिक निचले स्तर 8.5% पर आ गई। जानकारों के अनुसार, मुख्य कारण नए एफडीटीएल (फ्लाइट ड्यूटी टाइम लिमिटेशन) नियमों के दूसरे चरण का लागू होना और उसके बाद क्रू (पायलट और केबिन स्टाफ) की गंभीर कमी है।